संदेश

चुनाव की एकल प्रणाली विकासशील से विकसित की यात्रा का अनमोल धरोहर

चित्र
  हम हैं स्वतंत्र भारत के लोकतांत्रिक प्रणाली का अहम हिस्सा। आजादी के 75 वर्षों के बाद भी हम अपेक्षित विकास से काफी पीछे चल रहे हैं। अमृत काल का लक्ष्य (2047 तक विकसित भारत)हासिल करने के लिए अपनी विकास की रफ्तार को थोड़ी और गति देनी होगी। जिसके लिए सबका साथ सबका विकास का मूल मंत्र को केंद्र मे   रखते हुए सम्पूर्ण देश को एक इकाई मानकर ही विकास का मापदंड तैयार करना होगा। इसके कई पहलू (आधार कार्ड, राशन कार्ड, NTA ) के सकारात्मक परिणाम को देखते हुए आज एक कदम और आगे बढ़ते हैं एक राष्ट्र एक चुनाव की ओर। जिसकी प्रतीक्षा लंबे अरसे से रही है। हालाँकि आजादी के बाद कुछ वर्षों तक (1951-52,1957, 1962और 1967) सम्पूर्ण देश में लोकसभा और विधान सभा का चुनाव एक साथ होने का सफल इतिहास रहा है। पर परिस्थिति वश इस एकरूपता का खंडन होना धीरे-धीरे परम्परा बन गई और अब समस्या। व्यक्तिगत भावनाओं से ऊपर उठकर देश हित के बारे में हम सभी भारतीयों को सोचना ही होगा। इसे लागू करने में कई सारी चुनौतियाँ भी आएगी जिसमें कुछ संवैधानिक होगें कुछ राजनैतिक और कुछ तकनीकि व सामाजिक भी। चुनौतियाँ :- 1.   ...

इन्तजार

चित्र
  अन्तःकरण का जार -जार होना ही इन्तजार का मर्म है। चाहे इन्तजार करना हो या कराना दोनों ही संवेदनशीलता की उच्चतम शिखर को स्पर्श करता एक अनुभव है। कभी जानबूझकर तो कभी अनजाने मे कभी न कभी तो इससे वास्ता हर किसी को पड़ा ही होगा ।  इस इन्तजार के क्षण का जीवन यात्रा भी बड़ी अजीब होती है। कभी -कभी इस समयावधि मे किसी ऐसे शख्स से मुलाकात हो  जाती है। जिससे जीवन की दिशा और दशा दोनों बदल जाती है।हमारे सामने वाला हमारे अंदर छिपी प्रतिभा को पहचानकर जिससे हम खुद अनजान होते है उससे परिचय करा जाता है। और हमे एक मुकाम तक पहुँचने की राह मिल जाती है। तो कभी कड़वे अनुभव से भी दो चार होना पड़ जाता है।  जब हम किसी का इन्तजार कर रहे होते हैं। चाहे वह व्यक्ति हो, समय हो,गंतव्य का संसाधन हो,किसी के आने का, जाने का,खाने का या कामयाबी के रिजल्ट का ही क्यों न हो इन सारे स्थितियों मे जो एक सामान्य बात है वो यह की उस वक्त हमारी सोच का ऊर्जा (सकारात्मक नकारात्मक )हमारे अंदर बाहर तरंगित होती रहती है। जो परिस्थितियों को अपने अनुकूल परिवर्तित करने लग जाती है। ऐसे हालत मे बेहतर यही होता है की जो हमारे वश ...

एहसास पल पल पलकों के पास

चित्र
समय की कदमो की आहट कल आज और कल की सुनहरे पलों का सजीव चित्रण करता हुआ परिवर्तन स्वीकार्यता का सहज एहसास करा रहा है। मानो कल ही की बात है । एक अल्हड़ सी अठखेलियाँ करती चुलबुली सी लड़की गृहस्थ जीवन मे प्रवेश करती है। जिसका विस्तार एक नन्हीं सी जान के आगमन से होता है ।  उस नन्हीं सी जान के प्रत्येक गतिविधियों से सुखद एहसास के साथ जीवन को गति मिलती है । उसका पहली वार इस दुनिया से क्रंदन के साथ संपर्क स्थापित करना , सपनों से भरे नयनों का पलकें धीरे से खोलना , एक ही पल मे अपने आप से बातें करते हुए मुस्कुराना  दूसरे ही पल डरकर रोना ! ऐसा लगता है जैसे इस इंद्रधनुषी दुनिया के हर रंग से समायोजन स्थापित करने का प्रयास किया जा रहा हो । प्रकृति की धूप छाँव की तरह जीवन भी सरकने से लेकर बैठना ,उठ खड़ा होना ,गिरना फिर से उठ खड़ा होना और अंततः तेज गति के साथ दौड़ना । उसके बोल -चाल मे एक संगीतमय लय का निश्चल व सुंदर चित्रण से पूरा घर गुंजायमान होकर पूरे परिवार को एक सूत्र मे बांधते हुए जीवन आगे बढ़ ही रहा होता है की एक और नन्हीं सी जान का उसके जीवन मे आगमन होता है । जो बचपन के गुडे -गुड़िया की जगह हँस...

अविस्मरणीय पल !

चित्र
अगस्त -सितंबर 2023 अंतरिक्ष में भारतीय तिरंगा शान से लहराने वाला भारत विश्व का पहला देश बन गया। विश्व रिकॉर्ड बनाते हुए विश्व का पहला देश बनने के एक नहीं दो-दो गौरव का पल एक ही सप्ताह के अंदर अपने नाम करना नामुमकिन को मुमकिन करने जैसा लग रहा है। आज हर भारतीय का मस्तक गर्व से ऊँचा हो रहा है।   सबसे पहले 23 अगस्त 2023 को जब चंद्रयान- थ्री  सफलता पूर्वक चन्द्रमा की दक्षिणी ध्रुव पर सॉफ्ट लैंडिंग किया तो  समूचा देश झूम उठा। अभी सारा देश जश्न  के आगोश में ही था की 2 सितंबर 2023 का दिन एक वार  फिर से हमे गौरवान्वित होने का अवसर प्रदान किया जब आदित्य एल-1 का सफल प्रक्षेपण हुआ। हम सौभाग्यशाली हैं की हमे इस सफलता के पल का साक्षी बनने का सुअवसर प्राप्त हुआ। तकनीक के सुलभता से Live दर्शन का सौभाग्य भी प्राप्त हुआ।  हमारे तत्कालीन प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने बड़े ही गर्व के साथ भारत के भूत और वर्तमान वस्तुस्थिति की समीक्षात्मक आकलन किया है। "लम्बे समय तक एक अरब से अधिक भूखे पेट वाले देश कहलाने वाला भारत आज एक अरब से अधिक आकांक्षी दिमागों ,दो अरब से अधिक कु...

स्नातक कोर्स 2023 सेमेस्टर, क्रेडिटऔर पेपर का प्रारूप

चित्र
  Universities of bihar  4 year bachelor of Arts /Science/commerce (Hons ) पूरा कोर्स आठ सेमेस्टर का होगा । प्रत्येक सेमेस्टर के लिए  20  क्रेडिट  निर्धारित की गई है। आठ सेमेस्टर मे 160 क्रेडिट पूरी करनी होगी । सेमेस्टर का सत्र इस प्रकार का होगा ।  जनवरी से जून  :--सेमेस्टर एक, तीन, पाँच और सात की सारी प्रक्रिया (नामांकन,पढ़ाई,परीक्षा और परिणाम  )पूरी की जाएगी।  जुलाई से दिसंबर :-- सेमेस्टर दो, चार, छह और आठ की सारी प्रक्रिया (नामांकन, पढ़ाई,परीक्षा और परिणाम )पूरी की जाएगी ।  किस सेमेस्टर मे कौन -कौन से  पेपर कितने क्रेडिट, लेक्चर ,टूटोरियल, प्रैक्टिकल और अंक  का होगा  Credit , Lecture ,Tutorial ,Practical (L.T.P ) & Marks  Semester-I   Sl. No. Name of Course Type of Course L-T-P Credit Marks 1 Major Core 1 MJC-1 6-1-0 6 100 2 Minor Course 1 MIC-1 3-1-0 ...